
Rajasthan News: जयपुर के नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में जानवरों को भीषण गर्मी से बचाने के लिए कई इंतजाम किए हैं. उनके बाड़ों में कूलर लगाए गए हैं और उनके खाने में आइसक्रीम और सत्तू शामिल किया गया है. पार्क मैनेजर ने बताया कि जानवरों के खाने पीने को मौसम के हिसाब से एडजस्टिड किया गया है. इसमें बाघ और शेर के शावकों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है, जिनकी ये पहली गर्मियां हैं.
परोसा जा रहा खीरा-तरबूज
वरिष्ठ पशु चिकित्सक डॉ. अरविंद माथुर ने कहा कि पार्क के जानवरों के खाने में फ्रूट आइसक्रीम शामिल की गई है. जहां भालू को सत्तू, शहद और विशेष फलों की आइसक्रीम दी जा रही है. वहीं हिरण और दरियाई घोड़ों को तरबूज और खीरा परोसा जा रहा है. पार्क के जानवरों को गर्मी से बचाने के लिए विशेष उपाय किए गए हैं. कूलर लगाए गए हैं. बाघों, शेरों और तेंदुओं के खुले बाड़ों में पानी की बौछारें करने के लिए ‘रेन गन' लगाई गई हैं. ये उपकरण तापमान को कम रखने में मदद करते हैं. एक दरियाई घोड़े ने कुछ दिन पहले ही शावक को जन्म दिया है. इस मां-बच्चे की सुविधा सुनिश्चित करने के लिए अतिरिक्त देखभाल की जा रही है.

नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में आइसक्रीम खाते हुए भालू.
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नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में खेलते हुए भालुओं की तस्वीर.
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जानवरों के लिए बनाए गए तालाब
माथुर ने कहा, 'सांभर (हिरण) के लिए हरी जाली, स्प्रिंकलर सहित पार्क के अन्य जानवरों के लिए तालाब बनाए गए हैं. व्यस्क जानवरों को खुले बाड़ों में रखा गया है, जबकि शावकों को चिड़ियाघर क्षेत्र में रखा गया है, जहां वे विजिटर्स के लिए मुख्य आकर्षण हैं. वहीं, पार्क में पैंथर, तेंदुआ, लोमड़ी, बबून और हिरण की विभिन्न प्रजातियों को गर्मी से बचाने के लिए उनके पिंजरों के बाहर पानी के फव्वारे लगाए गए हैं. बाघों और शेरों के बाड़ों में कूलर लगाए गए हैं.'

नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में जानवरों को गर्मी से बचाने के लिए लगाए गए कूलर.
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जयपुर से 12 KM दूर बना है पार्क
नाहरगढ़ बायोलॉजिकल पार्क में एशियाई शेर, बंगाल टाइगर, पैंथर, लकड़बग्घे, भेड़िये, हिरण, मगरमच्छ, भालू और जंगली सूअर सहित अनेक तरह के जानवर हैं. पार्क में इस समय 7 शावक सहित 13 बाघ हैं. यह पार्क 720 हेक्टेयर में फैला है और नाहरगढ़ सेंचुरी का हिस्सा है. यह जयपुर-दिल्ली हाईवे पर जयपुर से करीब 12 किलोमीटर दूर है.
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