सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने 6:1 के बहुमत से फैसला दिया और साफ किया कि राज्यों को कोटा (Kota) के भीतर कोटा देने के लिए एससी (SC), एसटी (ST) में सब कैटेगरी बनाने का अधिकार है.अदालत के फैसले के बाद यह तय हो गया कि राज्य सरकारें अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति श्रेणियों के लिए सब कैटेगरी बना सकती हैं. राज्य विधानसभाएं कानून (State Legislatures Laws) बनाने में समक्ष होंगी. CJI डीवाई चंद्रचूड़ (CJI DY Chandrachud), जस्टिस बीआर गवई (Justice BR Gavai), जस्टिस विक्रम नाथ (Justice Vikram Nath), जस्टिस बेला एम त्रिवेदी (Justice Bela M Trivedi), जस्टिस पंकज मिथल (Justice Pankaj Mithal), जस्टिस मनोज मिश्रा (Justice Manoj Mishra) और जस्टिस सतीश चंद्र शर्मा (Justice Satish Chandra Sharma) की बेंच ने फैसला सुनाया.