
Rajasthan News: राजस्थान के भरतपुर में पुलिस कांस्टेबल भर्ती परीक्षा के दौरान एक बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया. बायोमेट्रिक सत्यापन में सुनील कुमार नाम का अभ्यर्थी पकड़ा गया, जो पहले दूसरी जगह दीपक गुर्जर बनकर परीक्षा दे चुका था. सिस्टम ने उसकी असली पहचान उजागर की तो केंद्र अधीक्षक ने तुरंत पुलिस को सूचना दी. भरतपुर पुलिस ने जीरो नंबर FIR दर्ज की और सुनील को भरतपुर के मथुरा गेट थाना पुलिस के हवाले कर दिया.
पैसों के लिए बनता था डमी कैंडिडेट
मथुरा गेट थाना पुलिस ने सुनील कुमार को गिरफ्तार कर लिया, जो धौलपुर जिले के बसेड़ी थाना क्षेत्र का रहने वाला है. पूछताछ में उसने कबूल किया कि वह रुपये लेकर प्रतियोगी परीक्षाओं में डमी कैंडिडेट बनता था. जून 2024 में उसने भरतपुर में दीपक गुर्जर बनकर प्री D.El.Ed परीक्षा दी थी. इस बार वह अपने नाम से पुलिस कांस्टेबल परीक्षा देने भरतपुर पहुंचा, लेकिन बायोमेट्रिक ने उसका भेद खोल दिया.
मोबाइल से मिले कई प्रवेश पत्र
जिला पुलिस अधीक्षक दिगंत आनंद ने बताया कि जांच में सुनील के मोबाइल से कई परीक्षाओं के प्रवेश पत्र बरामद हुए. उसने कबूल किया कि उसने प्री D.El.Ed 2024, प्री D.El.Ed 2025 और पशु परिचर परीक्षा 2024 में डमी कैंडिडेट बनकर पेपर दिए. पशु परिचर परीक्षा के लिए उसने 6 लाख रुपये का सौदा किया था, जबकि दोनों प्री D.El.Ed परीक्षाओं के लिए 25-25 हजार रुपये लिए थे.
अन्य आरोपियों की तलाश जारी
पुलिस जांच में कई अन्य लोगों के नाम सामने आए हैं, जिनके खिलाफ अनुसंधान चल रहा है. अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक शंकर लाल इस मामले की गहराई से जांच कर रहे हैं. पुलिस का कहना है कि इस तरह के फर्जीवाड़े को रोकने के लिए सख्त कदम उठाए जाएंगे.
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