
Bundi Forest Department Action: वन क्षेत्र में अवैध रूप से पेड़ों की कटाई और अवैध खनन के मामले लगातार बढ़ते जा रहे हैं. वन विभाग के कर्मचारियों द्वारा इसे रोकने का प्रयास करना उनके जान के जोखिम को बढ़ा देता है. ऐसा ही एक मामला बूंदी जिले के मायजा नाके के पास से आया है. जहां अवैध पेड़ों की कटाई और मिट्टी खनन रोकने गई वन विभाग की टीम पर 2 दर्जन से अधिक अवैध खनन करने वालों ने हथियारों और लाठियों से हमला कर दिया, हमले में वन विभाग के रेंजर सहित 6 कर्मचारी घायल हो गए.
वन विभाग में बढ़ता जा रहा आक्रोश
मामले की सूचना पर रायथल पुलिस भी मौके पर पहुंची. पुलिस ने घायल वन कर्मियों के बयान लेकर हमलावरों के विरुद्ध राजकार्यों में बाधा और अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया. राजस्थान के राजसमंद जिले में हुई रेंजर की हत्या के बाद बूंदी में हुए वन विभाग की टीम पर हमले के मामले से वन विभाग में आक्रोश बढ़ता जा रहा है.
गश्त के दौरान रेंजर और वनकर्मियों पर हमला
डीएफओ देवेंद्र भाटी ने बताया कि बूंदी के क्षेत्रीय वन अधिकारी अपनी टीम के साथ गश्त के लिए गए थे. जहां वन क्षेत्र में अवैध रूप से काम कर रही एक जेसीबी, दो ट्रैक्टर और कुट्टी मशीन जब्त की कार्रवाई को अंजाम दिया गया. इसके बाद वनकर्मी जब्त मशीनरी को लेकर बूंदी के लिए रवाना हुए.
इसी दौरान दो दर्जन खननकर्ताओं ने वनकर्मियों को घेर लिया और मारपीट करने लगे. ग्रामीणों ने लाठी डंडों और पत्थरों से वनकर्मियों के पर हमला कर दिया. मारपीट में सभी वनकर्मियों को चोटें आई है. घटना में एक फोरेस्टर का हाथ टूट गया, हमलावरों ने राजकीय वाहन को भी क्षतिग्रस्त कर दिया. घायल वनकर्मियों का बूंदी के सामान्य चिकित्सालय में प्राथमिक उपचार कर मेडिकल करवाया है.
बबूल की कुट्टी बनाकर बेंचने का चल रहा धंधा
वनखण्ड रामगढ़ विषधारी टाइगर रिजर्व के कोर क्षेत्र से विस्थापन्न होने वाले गांवों को बसाने के लिए किए जाने की योजना है. लोग यहां से चोरी-छिपे विलायती बबूल की कुट्टी बनाकर बेचने का धंधा कर रहे है. इन दिनों जिले में कई जगह इस तरह विलायती बबूल निकालने की सूचना आ रही है.
कई लोगों के खिलाफ मामला दर्ज
वनकर्मियों पर हमले के मामले में रायथल थाना पुलिस ने 8 नामजद और 10 से 12 लोगों के खिलाफ राज कार्य में बाधा उत्पन्न करने, सरकारी संपति को नुकसान पहुंचाने, जब्त शुदा वाहनों को हथियारों के दम पर छुड़ा ले जाने सहित अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया है. थाना प्रभारी ने बताया कि हमले में घायल वनकर्मियों का मेडिकल करवाया गया है. साथ ही मुकदमा दर्जकर आरोपियों की तलाश की जा रही है.
जिले में कुट्टी का अवैध कारोबार
जानकारी के अनुसार बूंदी जिले में बड़ी संख्या में पेड़ों को अवैध खननकर्ताओं द्वारा काटा जाता है और मौके पर ही मशीन लगाकर उन पेड़ो का कुट्टी मशीन के माध्यम से कुट्टी की जाती है. या यूं कहें की लकड़ी के छोटे-छोटे अंश किए जाते हैं जो बाद में आगे जाकर कोयले का रूप ले लेते हैं. कुट्टी मूल रूप से कोयला बनाने के लिए ही उपयोग में ली जाती है.
बूंदी जिले के कापरेन, केशोरायपाटन, लाखेरी, मायजा इलाके में बड़ी संख्या में विदेशी बम्बुल होने के चलते इसके जंगलों को खनन माफिया बड़ी तेजी से साफ कर रहे हैं और कुट्टी मशीन में पेड़ों की कटाई कर अवैध खनन किया जा रहा है. यही कारण रहा कि वन विभाग की टीम इन माफिया पर कार्रवाई करने के लिए पहुंची तो माफियाओं ने हमला कर दिया.
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