
Rajasthan News: राजस्थान में चूरू विधायक हरलाल सहारण की फर्जी मार्कशीट मामले में मुश्किलें बढ़ गई हैं. हाईकोर्ट ने राज्य सरकार की ओर से मुकदमा वापस लेने की याचिका को खारिज कर दिया है. जस्टिस इंद्रजीत सिंह व जस्टिस भुवन गोयल की बेंच ने याचिका को खारिज करते हुए कहा कि केवल इस आधार पर कोई आरोपी विधानसभा के लिए चुना गया है तो यह उनकी जनता में अच्छी छवि का प्रमाण नहीं हो सकता है.
नामांकन में लगाई थी फर्जी मार्कशीट
दरअसल, हरलाल सहारण ने वार्ड संख्या 16 से जिला परिषद के सदस्य पद के चुनाव के लिए अपना नामांकन प्रस्तुत किया था. नामांकन पत्र के साथ उन्होंने 10वीं के मार्कशीट और सर्टिफिकेट दिए, जोकि फर्जी थे. हरलाल सहारण की फर्जी मार्कशीट की शिकायत जब पुलिस में की गई तो कोतवाली चूरू में मामला दर्ज किया गया था. जांच पूरी होने के बाद पुलिस ने हरलाल के खिलाफ आरोप चार्जशीट पेश की.
आपराधिक मामले के लंबित रहने के दौरान राज्य सरकार ने एक समिति गठित की. जिसने चूरू के वर्तमान विधायक के खिलाफ लंबित आपराधिक मामला वापस लेने का निर्णय लिया. राज्य ने मुकदमा वापस लेने के लिए अनुमति मांगते हुए कोर्ट में याचिका दायर की. सरकार की रिपोर्ट पेश करते हुए एडवोकेट जनरल राजेंद्र प्रसाद ने बताया कि राज्य सरकार ने 26 नवंबर 2024 की बैठक में फैसला लिया कि चूंकि हरलाल सहारण अब विधायक हैं, इसलिए उनके खिलाफ मुकदमा वापस लिया जाना चाहिए.
सरकार ने हाईकोर्ट में क्या तर्क दिया?
एडवोकेट जनरल राजेंद्र प्रसाद ने कोर्ट में तर्क दिया कि उस मामले में सबूतों में कमी है. पुलिस चार्जशीट में धारा 120-बी लगाई गई है, जबकि इस धारा में दो या इससे अधिक आरोपी होने चाहिए. जबकि चार्जशीट सिर्फ हरलाल सहारण के खिलाफ है. इसी तरह धारा 193 के मामले में अलग प्रक्रिया होनी चाहिए. इस मामले में चुनाव अधिकारी को शिकायत दर्ज करानी चाहिए थी, न कि किसी निजी व्यक्ति को और जिला परिषद का कार्यकाल 2020 में समाप्त हो चुका है.
हाईकोर्ट ने अपने फैसले में क्या कहा?
अब केस वापस लेने की सरकार की याचिका को खारिज करते हुए हाईकोर्ट ने कहा कि केवल इस आधार पर कि कोई आरोपी विधानसभा के लिए चुना गया है, यह उनकी जनता में अच्छी छवि का प्रमाण नहीं हो सकता. साथ ही अदालत ने सरकार को फटकार लगाते हुए कहा कि वे यह साबित नहीं कर सके कि मुकदमा वापस लेने से न्याय के व्यापक हित कैसे पूरे होंगे.
राजस्थान हाईकोर्ट के इस फैसले के बाद चूरू विधायक हरलाल सहारण के खिलाफ आपराधिक मुकदमा जारी रहेगा. विधायक के खिलाफ फर्जी डिग्री मामले की सुनवाई सरदारशहर अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट के समक्ष सुनवाई जारी रहेगी. फिलहाल हरलाल सहारण की तरफ से आरोप तय करने के आदेश को चुनौती देने वाली रिवीजन पिटिशन अभी भी लंबित है, जिसमें वे अपनी बचाव की कोशिश कर सकते हैं.