Jaipur Ajmer Highway Fire Accident: जयपुर-अजमेर हाईवे पर शुक्रवार की सुबह एलपीजी टैंकर ब्लास्ट के बाद हुए भीषण अग्निकांड में कुल 14 लोगों की मौत हुई. हादसा ऐसा था कि शव के जले हुए अवशेष को पोटली में ले जाना पड़ा था. फिलहाल बाकी शव में सिर्फ दो पहचान होना अभी बाकी है. आज दो और लोगों पहचान हो गई है. लापता लोगों की सूची में शामिल रिटायर्ड आईएएस करणी सिंह राठौड़ की जयपुर अग्निकांड में मौत की पुष्टि शनिवार को हो गई. लावारिस लाशों की डीएनए रिपोर्ट के आधार पर आईएएस करणी सिंह के मौत की पुष्टि की गई है.
बेटियों के सैंपल से हुई DNA जांच
इस भीषण अग्निकांड के लापता हुए रिटायर्ड आईएएस करणी सिंह राठौड़ का पता लगाने के लिए उनकी बेटियों के डीएनए से मिलान के लिए सैंपल लिया गया था. इसके बाद आई डीएनए रिपोर्ट के आधार पर आईएएस करणी सिंह के मौत की पुष्टि हुई है. जानकारी के मुताबिक, करणी सिंह भांकरोटा कृषि फार्म से जयपुर लौट रहे थे. इस दौरान सुबह के समय करीब 6 बजे यह हादसा हुआ.
जब प्रशासन की टीम ने वहां जाकर देखा तो वो उसमें नहीं थे. हादसे में जिन घायलों की पहचान हुई है, उस लिस्ट में भी उनका नाम नहीं था.
दो शव की पहचान बाकी
बता दें कि भांकरोटा इलाके में हाईवे पर शुक्रवार तड़के एक ट्रक ने एलपीजी टैंकर को टक्कर मार दी थी, जिससे लगी आग ने 35 से अधिक वाहनों को अपनी चपेट में ले लिया था. इस भीषण दुर्घटना में अब तक 14 लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 30 से अधिक घायल अस्पताल में भर्ती हैं. हादसे के बाद पहचान न हो पाने वाले शव की संख्या पांच बताई जा रही थी. वो पांच नहीं, चार ही शव थे, क्योंकि एक शव के जलने के बाद दो टुकड़े हो गए थे.
इन 4 में से दो शवों की शनिवार को हुई डीएनए जांच के बाद पहचान हो गई है. जिसमें एक रिटायर्ड IAS करणी सिंह का शव है तो दूसरा यूपी निवासी संजेश का. करणी सिंह दिसंबर 2008 में रिटायर्ड हुए थे और वह अजमेर और श्रीगंगानगर जिले के कलेक्टर भी रहे. जिस समय वह रिटायर्ड हुए, उस समय करणी सिंह आरयूआईडीपी प्रोजेक्ट के डायरेक्टर थे. इसके अलावा वह राजस्थान विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार और अजमेर विद्युत वितरण निगम के मैनेजिंग डायरेक्टर रहे.
करणी सिं अजमेर और श्रीगंगानगर के रहे कलेक्टर
पुलिस ने बताया कि ट्रक के टक्कर मारते ही एलपीजी टैंकर में ब्लास्ट हुआ और गैस चारों तरफ फैल गई. देखते ही देखते आग ने विकराल रूप ले लिया और वहां से गुजर रही बस सहित अनेक ट्रक, कार आग की चपेट में आ गए. हादसे में राष्ट्रीय राजमार्ग का करीब 300 मीटर का हिस्सा प्रभावित हुआ, जिससे वाहनों की लंबी कतार लग गई. एक स्कूल वैन चालक ने बताया कि आग की लपटें एक किलोमीटर दूर से दिखाई दे रही थीं और वहां अफरातफरी मची हुई थी.
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