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नरेश मीणा के साथ हो रही मारपीट- वकीलों का आरोप, कोर्ट ने दिया मीणा को जेल भेजने का आदेश

वकीलों ने आरोप लगाया है कि अगर किसी भी व्यक्ति पर मुकदमा दर्ज होता है तो 24 घंटे के अंदर उसे मजिस्ट्रेट के पास फिजिकल पेश किया जाता है. लेकिन यहां कानून का उल्लंघन हो रहा है.

नरेश मीणा के साथ हो रही मारपीट- वकीलों का आरोप, कोर्ट ने दिया मीणा को जेल भेजने का आदेश

Naresh Meena: नरेश मीणा की गिरफ्तारी के बाद उन्हें कोर्ट में पेश करने के लिए स्थान चुनने की बात हो रही थी. लेकिन पुलिस-प्रशासन ने लॉ एंड ऑर्डर को लेकर चिंता जताई थी. जिसके बाद नरेश मीणा को ऑनलाइन कोर्ट में पेश किया गया है. वहीं ऑनलाइन कोर्ट में पेशी के बाद जानकारी दी गई है कि नरेश मीणा को जेल भेजने का आदेश दिया गया है. नरेश मीणा को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में रखा जाएगा. वहीं दूसरी ओर नरेश मीणा के वकीलों ने पुलिस पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा है कि यहां कानून का उल्लंघन किया जा रहा है. वकीलों का कहना है कि हमें यह भी नहीं पता है कि नरेश मीणा कहां हैं और किस हाल में हैं.

नरेश मीणा के वकीलों ने कहा है कि वह पुलिस द्वारा कानून के उल्लंघन के खिलाफ न्यायालय में जाएंगे और उन सभी अधिकारियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराएंगे. वकीलों के कहा है कि हमें नरेश मीणा से मिलने तक नहीं दिया जा रहा है और न ही परिजनों को उनसे मिलने दिया जा रहा है.

नरेश मीणा के साथ हो रही मारपीट

वकीलों ने आरोप लगाया है कि अगर किसी भी व्यक्ति पर मुकदमा दर्ज होता है तो 24 घंटे के अंदर उसे मजिस्ट्रेट के पास फिजिकल पेश किया जाता है. लेकिन यहां कानून का उल्लंघन हो रहा है. नरेश मीणा को हक है कि वह वकीलों से मिले और बात करें. लेकिन नरेश मीणा को किसी से भी मिलने नहीं दिया जा रहा है. 

वकील लाखन मीणा ने कहा है कि हमें सूचना मिली है कि नरेश मीणा के साथ मारपीट की जा रही है और जिस अधिकारी ने मुकदमा दर्ज कराया है वह खुद नरेश मीणा के साथ मारपीट कर रहा है. लेकिन हमें यह तक जानकारी नहीं दी जा रही है कि नरेश मीणा कहां है और क्या मामला दर्ज किया गया है.

नरेश मीणा के बारे में पुलिस नहीं दे रही कोई जानकारी

वकीलों ने कहा है कि हमने पुलिस के सभी अधिकारियों से अनुरोध किया है कि कम से कम हमें यह बताएं की नरेश मीणा किस थाने में हैं. लेकिन पुलिस ने हमें यह तक जानकारी नहीं दी है कि वह किस थाने में हैं. नरेश मीणा के पास जबकि पूरा अधिकार है कि वह वकील से मिले और हमें भी पूरा अधिकार है कि हम अपने मुअक्किल से मिले. इसके लिए हमें रोका नहीं जा सकता है. लेकिन पुलिस हमें किसी तरह की जानकारी नहीं दी है. 

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