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This Article is From Oct 16, 2023

Rajasthan Election 2023: जेपी नड्डा की बैठक में अचानक पहुंची वसुंधरा राजे, जानें क्या है इसके सियासी मायने?

उदयपुर में आयोजित बैठक का मजमून था कि किस तरह से भारतीय जनता पार्टी को उदयपुर संभाग जिताया जाए और विशेष तौर पर महिला वोटर, ओबीसी, एससी वोटरों को किस तरह से पार्टी से जोड़ा जाए. बैठक में प्रत्येक विधानसभा में महिला सम्मेलन, आईटी, सोशल मीडिया सम्मेलन, किसानों, युवाओं, कार्यकर्ताओ की जोर दिया गया.

Rajasthan Election 2023: जेपी नड्डा की बैठक में अचानक पहुंची वसुंधरा राजे, जानें क्या है इसके सियासी मायने?
फाइल फोटो

राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए 41 उम्मीदवारों की पहली सूची जारी करने के बाद से ही भारतीय जनता पार्टी (BJP) में बगावत के सुर उठ रहे हैं. इसी के चलते बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा (JP Nadda) सोमवार को उदयपुर दौरे पर पहुंच गए. संभाग स्तर की यह बैठक दो चरणों में चली पहले चरण में उदयपुर शहर, उदयपुर ग्रामीण और चित्तौड़गढ़ जिले के बारे में मंथन किया गया. 

राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया का इस बैठक में शामिल होना इस बात का संकेत है कि भाजपा अब डैमेज कंट्रोल के मूड में आ गई है. आगे कोई विरोध के स्वर नहीं उठे उसको लेकर वसुंधरा राजे सिंधिया पार्टी में प्रमुखता दी जा रही है.

बैठक का मजमून था कि किस तरह से भारतीय जनता पार्टी को उदयपुर संभाग जिताया जाए और विशेष तौर पर महिला वोटर, ओबीसी, एससी वोटरों को किस तरह से पार्टी से जोड़ा जाए. प्रत्येक विधानसभा में महिला सम्मेलन, आईटी, सोशल मीडिया सम्मेलन, किसानों, युवाओं, कार्यकर्ताओ की बैठक पर जोर दिया गया.

बैठक में वसुंधरा राजे ने भविष्य में पार्टी कार्यकर्ताओं को टिकट में तरजीह देने की बात की, साथ ही, 2018 के बागियों, कांगेस से आयातित को टिकट नहीं देने की बात की.

दूसरे दौर की बैठक में बांसवाड़ा डूंगरपुर राजसमंद के पदाधिकारियों ने जेपी नड्डा के साथ मुलाकात की. यह बैठक इस मायने में भी महत्वपूर्ण मानी जा रही है कि भाजपा में हो रहे डैमेज को कंट्रोल किया जा सके. पूर्व में घोषित हुई 41 उम्मीदवारों की लिस्ट में जिस तरह से बगावत के सुर उठे और वसंधुरा को किनारे कर टिकट वितरण किया गया, उसका नतीजा यह निकला कि पार्टी में विरोध के सुर बुलंद हो गए.

राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया का इस बैठक में शामिल होना इस बात का संकेत है कि भाजपा अब डैमेज कंट्रोल के मूड में आ गई है. आगे कोई विरोध के स्वर नहीं उठे उसको लेकर वसुंधरा राजे सिंधिया पार्टी में प्रमुखता दी जा रही है. वहीं, जल्द ही दूसरी लिस्ट आने की तैयारी है. दूसरी लिस्ट में अधिक से अधिक जिताऊ उम्मीदवार को शामिल किया जाएगा. भाजपा प्रदेश प्रभारी अरुण सिंह भी इस मीटिंग का अहम हिस्सा रहे.

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