
Sirohi News: अक्षय तृतीया पर सिरोही जिले के नया सानवाड़ा गांव में एक बाल विवाह को प्रशासन ने समय रहते रोक दिया. सरूपगंज थाने को सूचना मिली थी कि वहां बारात आई है और दूल्हे की उम्र 21 साल से कम है. सूचना मिलते ही पटवारी मनीषा देवड़ा ने भावरी नायब तहसीलदार नैनाराम के निर्देशों के तहत कार्रवाई की. दस्तावेज जांच में पाया गया कि लड़के की उम्र विवाह के लिए निर्धारित सीमा से दो वर्ष कम है. इसके बाद प्रशासन ने दोनों परिवारों को शादी रोकने के निर्देश दिए, परंतु बारात वापस नहीं लौट रही थी.
लड़के की उम्र आधार कार्ड के अनुसार 19 वर्ष पाई गई
इसकी जानकारी उच्च अधिकारियों को दी गई, जिसके बाद पुलिस और तहसील कार्यालय की टीम मौके पर पहुंची. दूल्हे और दुल्हन के दस्तावेजों की जांच की गई, जिसमें लड़की की उम्र 24 वर्ष और लड़के की उम्र आधार कार्ड के अनुसार 19 वर्ष पाई गई. पुलिस ने दूल्हे को समझाया कि वह अभी विवाह योग्य नहीं है और लगभग डेढ़ वर्ष बाद ही उसकी शादी हो सकती है. इसके बाद पुलिस ने शादी रुकवाई और बारात को सरूपगंज स्थित उनके घर वापस भेजा.
प्रशासन की तत्परता के चलते विवाह रुकवाया गया
जैसे ही कलेक्टर कंट्रोल रूम और एडीएम को इस बाल विवाह की सूचना मिली, उपखंड प्रशासन सक्रिय हुआ. तहसील कार्यालय से आरआई किशोर रावल, ड्यूटी इंचार्ज हेड कांस्टेबल मनोहर सिंह सहित पुलिस टीम मौके पर पहुंची. दस्तावेजों की पुष्टि के बाद यह सुनिश्चित किया गया कि विवाह अवैध है और दूल्हे की उम्र कानून के अनुसार पर्याप्त नहीं है. पुलिस और प्रशासन की तत्परता के चलते विवाह रुकवाया जा सका.
दूल्हे की उम्र 21 वर्ष होनी आवश्यक है
गौरतलब है कि यह बारात सरूपगंज से नया सानवाड़ा पहुंची थी. सूचना मिलते ही ग्राम पंचायत के वीडीओ नैनाराम लौहार, उपसरपंच कालूराम देवासी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता गोदावरी देवी, पटवारी, आरआई किशोर रावल, हेड कांस्टेबल मनोहर सिंह, विनोद कुमार, शैतानराम, कानाराम और सरपंच पति जीतू रावल मौके पर पहुंचे. सभी ने मिलकर दूल्हा-दुल्हन के परिवार को समझाया कि शादी के लिए दूल्हे की उम्र 21 वर्ष होनी आवश्यक है. इसके बाद परिवार ने सहमति दी कि दूल्हे के बालिग होने पर ही विवाह करेंगे.
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