Rajasthan News: राजस्थान के हनुमानगढ़ जिले के संगरिया क्षेत्र के मल्लडखेड़ा गांव के राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय के सातवीं कक्षा के 12 वर्षीय छात्र को शिक्षक ने बड़ी सजा दी है. इस सजा से छात्र के कान का पर्दा फट गया है. बताया जा रहा है कि शिक्षक ने पहले भी छात्र को बुरी तरह से पीटा था. लेकिन इस बार उसे ऐसी सजा मिली कि उसके लिए यह अभिशाप बन गया. वहीं, पीड़ित छात्र ने सोमवार को अपने पिता और बाल कल्याण समिति अध्यक्ष जितेंद्र गोयल के साथ जिला कलेक्टर कानाराम से मुलाकात कर आरोपित अध्यापक पर कार्रवाई की मांग की है. जिला कलेक्टर कानाराम ने जिला शिक्षा अधिकारी माध्यमिक को मामले की जांच के आदेश दिए हैं.
क्या है पूरा मामला
दरअसल, पीड़ित छात्र के पिता गिरधारी पुत्र गोपीराम नायक ने बताया कि उसका पुत्र शिव (12) गांव मल्लडख़ेड़ा के राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में कक्षा 7 में पढ़ता है. पिछले साल 10 अप्रैल को कक्षा में शिक्षक करनैल सिंह ने सभी विद्यार्थियों को सजा देने के लिए अपने स्थान पर खड़ा कर हाथ ऊपर करवा रखे थे. उसके पुत्र और छात्र अमनदीप के हाथ थोड़े नीचे थे. तब अध्यापक करनैल सिंह ने दोनों बच्चों को बुलाकर एक-दूसरे के 20-20 थप्पड़ मारने के लिए कहा. छात्र अमनदीप ने अध्यापक करनैल सिंह के कहने पर उसके पुत्र के कान पर जोर से थप्पड़ मारे. इससे उसके पुत्र शिव के कान का पर्दा फट गया. इस पर उसने श्री वर्धमान जैन धमार्थ चिकित्सालय गांव रतनपुरा संगरिया में अपने पुत्र का इलाज करवाया. अभी भी उसके पुत्र की दवाइयां चल रही हैं.
इस बीच 23 दिसम्बर 2023 को उसका पुत्र स्कूल गया हुआ था. इस दिन स्कूल में सफाई अभियान चलाया जा रहा था तो प्राचार्य के कहने पर अध्यापक करनैल सिंह ने उसके पुत्र शिव के कान पर दो थप्पड़ जड़ दिए. इसके बाद उसके पुत्र का कान पुन: दर्द करने लग गया. अब शिव के दोनों कानों में दर्द रहने लगा है. गिरधारी ने अध्यापक करनैल सिंह एवं प्राचार्य के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने की मांग को लेकर जिला कलेक्टर से न्याय की गुहार लगाई है. जिस पर जिला कलेक्टर ने मामले को जिला शिक्षा अधिकारी को जांच के लिए भिजवा दिया.
वहीं पीड़ित छात्र और उसके पिता के साथ बाल कल्याण समिति अध्यक्ष जितेंद्र गोयल भी जिला कलेक्टर के पास पहुंचे और पूरे प्रकरण में यथा शीघ्र जांच करवाने की बात की ताकि ऐसी घटनाओं की पुर्नावृति ना होने पाए.
बाल कल्याण समिति अध्यक्ष जितेंद्र गोयल ने मामले की जांच की बात कही है. सीडब्ल्यूसी अध्यक्ष गोयल ने कहा कि राजकीय विद्यालयों में शिक्षा के स्तर में तो सुधार हुआ है, लेकिन साथ ही इस तरह की घटनाओं में वृद्धि देखी गई हैं. शिक्षक समाज और भविष्य का शिल्पकार है. शिक्षक को बच्चे को प्यार से समझाना चाहिए. इस तरह मारपीट करना गलत है. साथ ही कहा कि अगर भविष्य में इस तरह की शिकायत मिलती है तो जिला प्रशासन के साथ मिलकर विशेष एक्शन लिया जाएगा.
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