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This Article is From Sep 20, 2023

Women's reservation bill: 'यह युग बदलने वाला विधेयक है", नए पार्लियामेंट में शाह 

मंगलवार को महिला आरक्षण बिल को लेकर आज लोकसभा में काफी हंगामा बरपा है. इस बिल का नाम अब नारी शक्ति वंदन अधिनियम भी कर दिया गया है. लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष अधीर रंजन चौधरी और अमित शाह के बीच महिला आरक्षण बिल के इतिहास पर भी तीखी बहस हुई.

Women's reservation bill: 'यह युग बदलने वाला विधेयक है", नए पार्लियामेंट में शाह 
संसद भवन में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह

लोकसभा में महिला आरक्षण बिल (Women's reservation bill) पर बहस के दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने बुधवार को नए संसद भवन में कहा कि 'नारी शक्ति वंदन बिल' हमारी सरकार के लिए कोई राजनीतिक एजेंडा नहीं है. संसद के विशेष संत्र में सदन को संबोधित करते हुए कहा कि कल का दिन भारतीय संसद के इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा. गृहमंत्री शाह ने कहा कि जनगणना और परिसीमन चुनाव के तुरंत बाद देश के सामने पेश किए जायेंगे.

अमित शाह ने आगे कहा, ये बिल पिछले 27 सालों से पेंडिंग पड़ा हुआ था, महिलाओं को अधिकार देने वाला यह बिल आज सदन में पेश हुआ. मैं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को साधुवाद देना चाहता हूं कि मोदी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ लेने के बाद से महिलाओं की सुरक्षा, सम्मान, और समान भागीदारी हमारी सरकार की जीवन शक्ति रही है. 

इस बिल के जरिए लोकसभा और राज्य विधानसभाओं की एक तिहाई (1/ 3) सीटों को महिलाओं के लिए आरक्षित करने की बात कही गई है. सांसदों के बीच आम सहमति नहीं बनने की वजह से इस बिल को पेश करने में इतना विलम्ब हुआ                                    -अमित शाह

अमित शाह ने कहा कि इस बिल के पास होने से महिलाओं के अधिकारों की लंबी लड़ाई पर अल्प विराम लग जाएगा. G20 के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने महिला नेतृत्व वाले विकास का विज़न पूरी दुनिया के सामने रखा था और आज पूरी दुनिया हमारे इस कदम को लेकर आश्चर्यचकित है.

अमित शाह ने कहा, जो हमसे 10 साल का हिसाब मांगते है, वो खुद का 60 साल का हिसाब नहीं देते. उन्होंने आगे कहा कि महिला आरक्षण बिल लाने का यह 5वां प्रयास है. देवेगौड़ा जी से लेकर मनमोहन सिंह जी द्वारा चार बार इस बिल को लाने की कोशिश की गई, लेकिन क्या कारण था कि ये बिल पास नहीं हो सका?

शाह ने कहा कि चुनाव के बाद जनगणना और परिसीमन दोनों होगा, बहुत जल्द समय आएगा कि एक तिहाई माताएं-बहनें सदन में होंगी. शाह ने कहा कि OBC आरक्षण, परिसीमन का मुद्दा या जनगणना को लेकर सवाल उठाए जा रहे हैं, मैं इन सभी सवालों के जवाब देता हूं. सबसे पहला जवाब विद्यमान संविधान में तीन तरह के सांसद आते हैं, जो सामान्य, SC और ST कैटेगरी से आते हैं. ये तीनों कैटेगरी में हमने महिलाओं का 33 फीसदी आरक्षण कर दिया है. 

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