Ram Leela 2023: हर साल दशहरा के नजदीक जगह-जगह रामलीला का आयोजन किया जाता है, जिसमें भारतीय संस्कृति की झलक देखने को मिलती है. आज सोशल मीडिया और मोबाइल के दौर में रामलीला का प्रचलन काफी कम हो गया है, और लोग भारतीय संस्कृति से धीरे-धीरे दूर होते जा रहे हैं. लेकिन इस रामलीला को हाईटेक बनाने के बाद GEN-Z भी उत्साहित होकर के इस रामलीला को देखने आते हैं.
स्पेशल इफेक्ट्स वाली रामलीला
इस हाईटेक रामलीला के अध्यक्ष कृष्ण जुनेजा और सचिव पवन वधवा का कहना है कि भारतीय संस्कृति से आमजन को जोड़ने के लिए आधुनिक तकनीक के साथ एक नया प्रयोग किया गया और वह है इस रामलीला में डाले गए स्पेशल इफेक्ट्स, जो लोगो को काफी पसंद आ रहे हैं. इसीलिए रामलीला देखने के लिए भारी संख्या में लोग आ रहे हैं.
सामान्य रामलीला से कई गुना अधिक बजट
कैशियर महेंद्र रस्सेवट ने बताया की इस हाईटेक रामलीला में कई तरह के इफेक्ट्स डाले जाते हैं. कई तरह के टावर और साउंड्स का प्रयोग किया जाता है. जिससे इसका बजट सामान्य रामलीला से कई गुना अधिक होता है. इन स्पेशल इफेक्ट्स के कारण दर्शक पूरे तीन घंटे तक बंधे रहते हैं. इस बार रामलीला के साथ डांडिया का भी आयोजन किया गया है ताकि दर्शको को और अधिक आनंद प्राप्त हो सके.
किरदार निभाने वाले असल जिंदगी में भी दम्पति
रामलीला के डायरेक्टर ने बताय कि रामलीला में दम्पति का किरदार निभाने वाले कई पात्र ऐसे हैं जिनका वास्तविक जीवन में भी दांपत्य जीवन चल रहा है. साथ ही सबसे ख़ास बात यह है कि इनमे से कोई भी कलाकार प्रोफेशनल नहीं है. सभी लोग नार्मल परिवारों से हैं. उन्होंने आगे कहा कि इस रामलीला की एक और ख़ास बात यह है कि हर बार हाईटेक रामलीला गुणवत्ता और तकनीक हर साल दर साल बढ़ रही है जो दर्शकों के लिए एक सुखद अनुभूति देता है.
रामलीला के पात्रो में खो जाते हैं
रामलीला में महिलाओं और पुरुषों का किरदार निभाने वाले लोगों ने कहा है कि वे रामलीला के किरदार निभाते वक़्त काफी अच्छा महसूस करते हैं. और उन्हें दर्शको की भी खूब तालियां मिलती हैं. कौशल्या का रोल करने वाली रीटा अरोड़ा ने कहा कि वे खुद को कौशल्या महसूस करती हैं. और राम को असल जिंदगी में भी अपना बेटा समझती है. इसी तरह अन्य लोगों ने भी रामलीला के इस प्रयोग को अनूठा बताया.
विगत नौ साल से रामलीला सेवा समिति की पूरी टीम इसे दिनोंदिन और हाइटेक कर रही है. जिस कारण रामलीला के प्रति लोगों की उत्सुकता बढ़ी है. कई सारे दर्शक अपने बच्चों को भी साथ लाते हैं ताकि उन्हें भी हमारी संस्कृति का पता चल सके. यह सब है हमारी पूरी टीम की मेहनत से ही यह सब संभव हो पाता है.
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