Naresh Meena Case: पूर्व कांग्रेस नेता नरेश मीणा को निचली अदालत के एक मामले में राहत मिली है. छात्र जीवन के दौरान आंदोलन से जुड़े इस मामले में उन्हें ACJM-6 कोर्ट ने बरी कर दिया है. हालांकि एक अन्य मामले में MM-16 कोर्ट ने नरेश मीणा को जेल भेजने का आदेश दिया है. इस मामले में अदालत ने उनके खिलाफ गिरफ्तारी के स्थायी वारंट भी जारी कर रखे थे. दोनों मामलों में नरेश मीणा को अदालत में पेश किया गया था जहां एक में उन्हें राहत मिली, जबकि दूसरे में उनकी गिरफ्तारी का आदेश दिया गया है.
समरावता काण्ड में भी नहीं मिली ज़मानत
इससे पहले 10 जनवरी को भी कुछ मामलों में सुनवाई हुई थी. जिसमें एक मामले में अदालत ने उनकी ज़मानत याचिका खारिज कर दी थी. समरावता में SDM अमित चौधरी को थप्पड़ मारने वाले नरेश मीणा की जमानत याचिका दूसरी बार भी खारिज कर दी गई थी. इससे पहले भी सेशन कोर्ट में जमानत याचिका दायर की गई थी जिसे खारिज कर दिया गया. दिलचस्प बात यह है कि नरेश मीणा की दूसरी जमानत याचिका उस मामले में थी जिसमें अब तक 54 लोगों को कोर्ट ने जमानत दे दी है.
नरेश मीणा पर समरावता थप्पड़ कांड, उपद्रव, आगजनी मामले में दर्ज FIR 166/2024 के प्रकरण में जमानत याचिका दायर की थी, जिसे सेशन कोर्ट ने खारिज कर दी थी.
नरेश मीणा पर दर्ज हैं 23 से ज़्यादा मुकदमें
14 नवंबर को नरेश मीणा की हुई थी गिरफ्तारी
समरावता गांव में 13 नवंबर को देवली-उनियारा सीट पर उपचुनाव के दौरान मतदान का ग्रामीणों द्वारा बहिष्कार किया गया और उसी दौरान तीन वोट डाले जाने के बाद निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा ने एरिया मजिस्ट्रेट अमित चौधरी को थप्पड़ मार दिया था. इससे पहले ग्रामीणों ने विभिन्न मांगों को लेकर वोटिंग का बहिष्कार शुरू किया था और काफी हंगामा हुआ था. इसी दौरान थप्पड़ कांड हुआ और एसडीएम को थप्पड़ मारने का मामला तूल पकड़ गया और नरेश मीणा को गिरफ्तार कर लिया गया.
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