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This Article is From Jan 23, 2024

राजस्थान के ऐसे गांव जिनका अपराध से नहीं है दूर-दूर तक वास्ता, आईजी ने की अनोखी पहल

बीकानेर संभाग में अब अपराध मुक्त गांवों का मॉडल बनने जा रहा है. बीकानेर आईजी ओम प्रकाश की पहल ऐसे गांव मिले हैं जिनका अपराध से दूर-दूर तक कोई वास्ता नहीं है.

राजस्थान के ऐसे गांव जिनका अपराध से नहीं है दूर-दूर तक वास्ता, आईजी ने की अनोखी पहल
फाइल फोटो

Rajasthan News: बीकानेर जिले में सात गांव ऐसे हैं जहां कभी अपराध नहीं हुआ और पूरे सम्भाग में ऐसे गांवों का आंकड़ा 25 है. 100 ढाणियां ऐसी हैं जो अब तक किसी भी तरह के अपराध से मुक्त हैं. ऐसे गांवों की खोज बीकानेर की पुलिस ने की है. आईजी ओम प्रकाश का ये नवाचार है. इससे पहले उन्होंने पुलिस पब्लिक पंचायत का नवाचार किया था, जिसके तहत जब पुलिस गांवों में पंचायत के लिए जाने लगी तो मालूम हुआ कि ऐसे गांव भी हैं जहां कभी अपराध ही नहीं हुआ.

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पायलट प्रोजेक्ट के तहत आईजी ने ऐसे सात गांवों का चयन किया और वहां के लोगों से इसका राज जाना. बीकानेर सम्भाग के चारों जिलों में से ऐसे कुल 25 अपराध मुक्त गांवों का चयन किया गया. इस नवाचार को पूरे प्रदेश में लागू करने के लिए एक प्रोजेक्ट रिपोर्ट भी बना कर पुलिस मुख्यालय को भेजी गई है. पूरे बीकानेर सम्भाग में करीब 25 गांव और 100 ढाणियां ऐसी हैं जो अपराधों से मुक्त हैं. 

इन सभी जगहों पर आपसी विवादों का निपटारा पंचायत बैठाकर किया जाता है. अगर कोई विवाद थाने में पहुंचा भी है तो गांव के लोगों ने आपस में ही समझौता करवा दिया. इन 25 गांवों में 7 गांव बीकानेर जिले के हैं. इन गांवों का थाने या कोर्ट से दूर-दूर तक कोई वास्ता नहीं है. 

गांव की मर्यादित परंपरा

अक्कासर गांव में शराब का एक ही ठेका है और वो भी रात आठ बजे के बाद सख्ती से बन्द करवा दिया जाता है. गांव जसरासर में तो लोगों ने शराब के ठेके को ही सीज करवा दिया. वहीं खारिया मलीनाथ के सरपंच भंवर लाल बिश्नोई ने कहा की गांव में कभी भी शराब का ठेका नहीं खुला है और ना ही खुलने दिया जाएगा. गौरतलब है की बीकानेर जिले में 367 ग्राम पंचायतें और 958 गांव हैं. इनमें से 897 आबाद हैं और 61 में आबादी नहीं है. 

बीकानेर के अपराध मुक्त गांव

नोखा के सुरपुरा ग्राम पंचायत में मैया की ढाणी, कोलायत के अक्कासर ग्राम पंचायत में शीशा, हदां के खारिया मलीनाथ ग्राम पंचायत में सराह थूमली, ग्राम पंचायत भाणेका गांव के चक कन्या बस्ती, श्रीडूंगरगढ़ की ग्राम पंचायत रिड़ी के गांव खींयाणी रिडी, इसी तहसील की ग्राम पंचायत इंदपालसर के गांव नारनोतान और जसरासर का इंद्रपुरा गांव अपराध मुक्त गांवों में शामिल किए गए हैं.

रोल मॉडल गांव बनाने का कॉन्सेप्ट

बीकानेर पुलिस रेंज के आईजी ओम प्रकाश बताते हैं कि पुलिस पब्लिक पंचायत का प्रयोग बहुत कामयाब रहा. जब हमने हार्डकोर क्रिमिनल्स के खिलाफ अभियान चलाया तो मालूम हुआ कि सम्भाग में ऐसे भी गांव हैं जहां जुर्म नहीं होते हैं. ऐसे गांवों को रोल मॉडल के रूप में पेश किया जा सके इस वजह से हम ये कॉन्सेप्ट लेकर आए हैं. जिस प्रकार पुलिस पब्लिक पंचायत को सभी जिलों में लागू किया गया, उसी तरह से अपराध मुक्त गांवों की जानकारी जुटाने का काम सभी जिलों में शुरू किया जा सकेगा. हालांकि इसके लिए पुलिस मुख्यालय से आदेश जारी होने बाकी है.

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