तस्वीर में दिख रहे शख्स को कोर्ट ने उम्रकैद की सजा सुनाई है. कोर्ट ने इस शख्स को उम्रकैद की सजा सुनाई है. साथ ही अदालत ने आरोपी पर 1.38 लाख रुपए जुर्माना भी लगाया है. सजा सुनाए जाने के बाद जब दोषी कोर्ट रूम से बाहर जा रहा था, तब मीडिया को देखते ही वह जजमेंट की कॉपी से अपना मुंह छिपाता नजर आया. मामला राजस्थान के बूंदी जिले से सामने आया है. जहां गुरुवार को पोक्सो कोर्ट ने नाबालिग से दुष्कर्म करने के मामले में बड़ा फैसला सुनाते हुए आरोपी को उम्रकैद की सजा सुनाई है. कोर्ट ने आरोपी पर 1 लाख 38 हजार का भी लगाया जुर्माना लगाया है.
जैसे ही कोर्ट ने आरोपी को सजा सुनाई तो आरोपी ने कोर्ट से अपने फैसले की कॉपी मांगी. कोर्ट ने आरोपी को फैसले की कॉपी दी. आरोपी मीडिया को देखकर उसी फैसले की कॉपी से अपना मुंह छुपाता रहा और गर्दन नीचे करके चलता रहा. बता दे की को न्यायालय पोक्सो क्रम संख्या दो के न्यायाधीश बालकृष्ण मिश्र ने यह जजमेंट दिया है.
27 जनवरी 2021 को दी गई थी शिकायत
अपर लोक अभियोजक महावीर मेघवाल ने बताया कि पीड़िता कि माता ने थाना देई में 27 जनवरी 2021 को तहरीर दी थी जिसमें बताया था कि मेरी पुत्री स्कूल जाने की कहकर गई थी. जो वापस घर लौटकर नहीं आई, हमने रिश्तेदार एवं गांव वालों से पूछा बहुत तलाश किया लेकिन पता नहीं चलने पर गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई. उक्त रिपोर्ट पर देई थाना ने पीड़िता को दस्तयाब कर एवं पूछताछ की. जहां पीड़िता ने बताया कि वह स्कूल से वापस घर लौट रही थी तभी एक युवक आया और उसे बहला फुसलाकर कर सुनसान जगह पर ले गया और फिर उसके साथ दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया था.
पीड़िता ने आरोपी गोपाल सिंह नामक के द्वारा उसके साथ दुष्कर्म करने की बात बताई. पुलिस ने पीड़िता के बताए गए हुलिए के आधार पर आरोपी को भी 3 दिनों बाद गिरफ्तार किया था. जहां आरोपी को कोर्ट ने जेल भेज दिया. इस मामले में देई थाना ने अनुसंधान के बाद आरोपी के खिलाफ कोर्ट में आरोप पत्र पेश किया. मामले में आज कोर्ट में अंतिम सुनाई थी. जहां पर बाद विचारण दोनो पक्षों को सुनने के बाद कोर्ट ने आज गुरूवार निर्णय सुनाते हुए उक्त सजा से दंडित किया. अभियोजन पक्ष की ओर से पैरवी करते हुए विशिष्ठ लोक अभियोजक महावीर प्रसाद मेघवाल ने 26 गवाह और 37 दस्तावेज प्रदर्शित करवाएं.
दरिंदा छुपाता रहा मीडिया के सामने मुंह
मामले में कोर्ट ने आज फैसले में सुनवाई का दिन रखा था. जैसे ही दोपहर हुई तो मामले में सुनवाई शुरू हुई, अपर लोक अभियोजक महावीर प्रसाद मेघवाल ने तमाम दस्तावेजों को कोर्ट में प्रदर्शित करवाया. कोर्ट ने दोनों पक्षों की सुनवाई करने के बाद आरोपी को उम्र कैद की सजा सुना दी.
कोर्ट से आरोपी ने अपने जजमेंट की कॉपी मांगी, इस पर कोर्ट ने आरोपी को जजमेंट की कॉपी दी. पुलिस आरोपी को जेल ले जाते समय जब मीडिया कर्मियों ने आरोपी का फोटो लेना चाहा तो जजमेंट की कॉपी को आरोपी दरिंदे ने अपना मुंह छुपाने के लिए काम में लिया और मुंह व गर्दन नीचे कर आरोपी चलता रहा.
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